Prithvi Shaw: भारतीय क्रिकेट के उभरते सितारे माने जाते थे, जिन्होंने अपने शुरुआती करियर में शानदार प्रदर्शन किया। सैय्यद मुश्ताक अली ट्रॉफी में मुंबई टीम का हिस्सा रहते हुए उन्होंने टीम की जीत में योगदान दिया। हालांकि, हाल ही में शॉ (Prithvi Shaw) को विजय हजारे ट्रॉफी की 16 सदस्यीय टीम से बाहर कर दिया गया, जिससे उन्होंने सोशल मीडिया पर अपनी नाराज़गी व्यक्त की। लेकिन क्या इसके पीछे केवल चयन समिति का निर्णय था, या इसके पीछे कोई बड़ी वजह थी?
Prithvi Shaw की अनुशासन और फिटनेस पर सवाल
मुंबई क्रिकेट एसोसिएशन (एमसीए) के एक वरिष्ठ अधिकारी ने Prithvi Shaw की अनुशासनहीनता और खराब फिटनेस पर गंभीर आरोप लगाए हैं। अधिकारी के अनुसार, सैय्यद मुश्ताक अली ट्रॉफी के दौरान शॉ ( Prithvi Shaw ) की फिटनेस इतनी खराब थी कि टीम को “उनको छुपाना” पड़ता था। अधिकारी ने कहा, “मैदान पर उनकी स्थिति ऐसी थी कि गेंद उनके पास से गुजर जाती थी और वे उसे रोकने में नाकाम रहते थे। यहां तक कि बल्लेबाजी के दौरान भी उनकी फिटनेस उन्हें परेशान कर रही थी।” यहां तक कि टीम के वरिष्ठ खिलाड़ियों ने भी शॉ (Prithvi Shaw) के रवैये की शिकायत की। अधिकारी ने यह भी खुलासा किया कि शॉ रातभर पार्टी करते थे और सुबह छह बजे होटल लौटते थे, जिससे उनकी ट्रेनिंग प्रभावित होती थी।
सोशल मीडिया पोस्ट और करियर पर असर
शॉ (Prithvi Shaw) ने सोशल मीडिया पर खुद को टीम से बाहर किए जाने पर नाराज़गी जताई थी, लेकिन एमसीए अधिकारी ने कहा कि ऐसे पोस्ट चयनकर्ताओं पर कोई असर नहीं डालते। उन्होंने कहा, “पृथ्वी शॉ खुद के दुश्मन हैं। उनकी प्रतिभा को निखारने के बजाय उनका रवैया और अनुशासन उन्हें पीछे ले जा रहा है।”
शॉ का करियर पिछले कुछ वर्षों से ठहराव में है। 2021 के बाद से उन्होंने भारत के लिए कोई सफेद गेंद का मैच नहीं खेला है, और हाल ही में आईपीएल नीलामी में भी उन्हें कोई खरीदार नहीं मिला। 75 लाख रुपये के आधार मूल्य के बावजूद उनकी अनदेखी से यह साफ हो गया कि उनका रवैया और फिटनेस उनके करियर के लिए बाधा बन चुके हैं। भारतीय क्रिकेट के दिग्गजों ने भी शॉ के व्यवहार और प्रदर्शन पर सवाल उठाए हैं। ऐसे में शॉ (Prithvi Shaw) के लिए जरूरी है कि वे अपने खेल और फिटनेस पर ध्यान केंद्रित करें, ताकि वे अपनी प्रतिभा के साथ न्याय कर सकें।
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